चंडीगढ़:पंजाब विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग द्वारा दिनांक 16 फरवरी2021 को हिंदी के प्रसिद्ध कवि सूर्यकान्त त्रिपाठी ‘निराला' कीजयंती पर विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया गया | कार्यक्रमका आरम्भ एम० ए० की छात्रा मुस्कान इक्का द्वारा निरालाकी सरस्वती वंदना कविता- 'वीणा वादिनि, वर दे ! से हुआ |विभाग की हिंदी साहित्य परिषद् की सचिव सुलेखा देवी नेकार्यक्रम की रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए विदुषी वक्ता प्रोफ़ेसरसंतोष कुमारी शर्मा का शैक्षिक परिचय देते हुए उनकास्वागत किया | प्रो० संतोष कुमारी शर्मा ने कविवर निराला केविराट व्यक्तित्व वा व्यापक कृतित्व के विविध पक्षों परविस्तारपूर्वक प्रकाश डालते हुए स्पष्ट किया कि निरालाअपने युग के प्रवर्तक तो थे ही ; वे आज भी उतने ही अधिकप्रेरणास्पद हैं | कवि का जीवन संघर्षों से युक्त रहा पर उनकाचिंतन मानवता के प्रति प्रतिबद्ध था और इसकी शक्ति उन्हेंभारत के अध्यात्म से प्राप्त होती है | इस कार्यक्रम में प्रो०नीरजा सूद, प्रो० सत्यपाल सहगल, प्रो० अशोक कुमार औरडॉ० गुरमीत सिंह की सहभागिता रही | सेमेस्टर एक औरअनुवाद डिप्लोमा के छात्र कार्यक्रम से जुड़े रहे | विभाग केशोधार्थी की भी अच्छी संख्या रही | बोर्ड ऑफ स्टडी केसदस्य, एलुमनी के सदस्य, मीडिया के महानुभाव भी आए |कार्यक्रम के अंत में विभागाध्यक्ष ने प्रो० संतोष कुमारी शर्माके पति कृतज्ञता प्रकट की और छात्रों को निराला के विराटचिंतन को जीवन में उतारने के लिए प्रेरित किया |